एलजी के पद से हटाई गई किरण बेदी, ऐसा रहा है राजनीति क्षेत्र में उनका अनुभव

किरण बेदी को पुडुचेरी के एलजी पद से हटा दिया गया है। जानिए इस पद से हटने के बाद क्या आया है उनका पहला रिएक्शन।

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किरण बेदी को पुडुचेरी के एलजी के पद से हटा दिया गया है। वो लगभग 100 दिन बाद रिटायर होने वाली थी। यानी 26 मई 2016 को उन्होंने उपराज्यपाल की शपथ ली थी। इस हिसाब से उनका कार्यकाल 29 मई 2021 को पूरा होने वाला था। लेकिन किसी एक बड़े घटनाक्रम की वजह से राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने उन्हें इस पद से हटा दिया है।

दरअसल भारतीय संविधान के मुताबिक एलजी की नियुक्ति भले ही राष्ट्रपति 5 साल के लिए करते हैं, लेकिन एलजी अपने पद पर तब तक बना या फिर बनी रह सकती है जब तक कि उसे राष्ट्रपति का विश्वास हासिल है। वहीं, उपराज्यपाल के पद से हटाए जाने के बाद पहला रिएक्शन किरण बेदी का इस वक्त सामने आया है। बुधवार के दिन अपने ट्विटर अकाउंट पर उन्होंने एक ऑडियो संदेश जारी किया है, जिसमें वो अपना एक लेटर पढ़ रही है। उस वक्त किरण बेदी ने कहा- वो भारत सरकार को शुक्रिया करना चाहती हैं कि उन्होंने पुडुचेरी के उपराज्यपाल के तौर पर काम करने का मौका दिया. जिन्होंने इस दौरान मेरे साथ काम किया, उनका भी मैं शुक्रिया करना चाहती हूं।


किरण बेदी से जुड़ी ये बातें नहीं जानते होंगे आप- 

1. 71 साल की किरण बेदी ने अपने करियर में बहुत सारी उपलब्धियां मौजूद हैं, लेकिन कई बार उन्हें महत्वाकांक्षाओं की रेस में शिकस्त भी खानी पड़ी है। जहां उन्हें भारत की पहली महिला ऑफिसर होने का खिताब मिला हुआ है। किरण बेदी ने उस वक्त ये यूनिफॉर्म पहनी जब पुलिस फोर्स में मर्दों का दबदबा ही देखने को मिलता था।

2. दिल्ली पुलिस में कई जिम्मेदारियों को संभालने के बाद उन्होंने 2007 में डायरेक्टर जनकर के पद से इस्तीफा दे दिया था। ऐसा कहा जाता है कि 2007 में किरण बेदी पुलिस कमिश्नर बनना चाहती थी लेकिन गृहमंत्रालय ने उनकी जगह युद्धवीर सिंह डडवाल को ये कमान सौंप दी। इससे किरण बेदी काफी निराश हुई और उन्होंने पक्षपात का भी आरोप लगाया। साथ ही कहा कि उनके मेरिट को नजरअंदाज किया गया है। इसके बाद उन्होंने निजी कारणों का हवाला देते हुए पुलिस सेवा से त्याग पत्र दे दिया था।

3. 2007 में वो सामाजिक कामों में जुट गई और एक वे कानूनी समस्याओं को लेकर टीवी शो लेकर आई। इसके बाद 2011 में उन्होंने दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल के साथ मिलकर सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे संग लोकपाल बिल की मांग को लेकर आंदोलन करने उतरी थी। 

4. 2014 में जब आम चुनाव हुए तो बीजेपी ने किरण बेदी को बीजेपी की तरफ से सीएम पद का उम्मीदवार बनाया था। लेकिन लोगों ने पुलिस अधिकारी किरण बेदी को नहीं जीतवाया। इतना ही नहीं वो कृष्णानगर से वो अपना चुनाव भी हार गई थी। उन्हें आप के कैंडिडेट एस के बग्गा ने 2277 वोटों से उन्हें हराया था।

5. 2016 में किरण बेदी के पति बृज बेदी का निधन हो गया था इसके बाद उनकी नियुक्ति केंद्र शासित प्रदेश पुडुचेरी के एली के तौर पर की गई थी। 


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