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आम आदमी पार्टी से जुड़ी जो अहम खबर सामने आई है उसने सभी लोगों को हैरानी में डाल दिया है। पार्टी के वरिष्ठ नेता मनीष सिसोदिया को 20 मार्च तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेजा गया है। सीबीआई ने उन्हें आबकारी घोटाले में गिफ्तार किया था। सीबीआई की ओर से विशेष जज को इस बात की जानकारी दी गई कि उसे मनीष सिसोदिया की हिरारत की जरूरत नहीं है। कार्ट ने इसके बाद उन्हें न्यायिक हिरासत में जेल भेजने का आदेश दिया।
सामने आई जानकारी के मुताबिक गिरफ्तारी के बाद मनीष सिसोदिया को 26 फरवरी को 5 दिन के लिए सीबीआई की रिमांड में भेजा गया था. उसके बाद कोर्ट ने उनकी सीबीआई हिरासत और 2 दिनों के लिए बढ़ाई थी. आज सीबीआई ने कोर्ट से कहा कि अभी उसे आरोपी की और हिरासत नहीं चाहिए. भविष्य में अगर इसकी जरूरत पड़ेगी, तो आवेदन दिया जाएगा.
चश्मे-भगवात की मांग
इसके अलावा मनीष सिसोदिया ने अदालत से चश्मा और भगवात गीता की मांग की। इतना ही नहीं सिसोदिया ने कोर्ट से विपश्यना करने तक की परमिशन मांगी है। उनकी बात सुनने के बाद अदालत की तरफ से जेल सुपरिटेंडेंट को उनकी मांग पर विचार करने का आदेश भी जारी किया। सिसोदिया ने अपनी बात रखते हुए कहा कि तिहाड़ जेल के अंदर एक विपश्यान सेल है। जहां पर वो रहना चाहते हैं। साथ ही उन्होंने एक पेन और नोटबुक की भी मांग की है। जज का ये कहना है कि इन पर जेल सुपरिंटेंडेंट फैसला करेंगे।
मनीष सिसोदिया-सीबीआई के बीच बहस
इसके अलावा सुनवाई के वक्त सीबीआई के वकीलों और मनीष सिसोदिया के बीच काफी नोकझोंक भी हुई। कोर्ट से सीबीआई ने कहा कि कोर्ट से वारंट जारी होने के बाद ही तलाशी ली गई। पूरी कार्यवाही कोर्ट की जानकारी में हैं। फिर ऐसा क्यों दिखाया जा रहा है कि सीबीआई कोई अवैध काम कर रही है? इस पर जज ने कहा कि सूचनाएं सीबीआई की तरफ से लीक हो रही है। आपको अपने घर की जांच करनी होगी।




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