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मानसून सीजन ऑफ पार्लियामेंट में खास हंगामेदार होने के आसार नजर आ रहे हैं सत्र सोमवार यानी आज से शुरू हो रहा है और इससे पहले 18 जुलाई यानी इतवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सर्वदलीय बैठक की अध्यक्षता की थी. इस सर्वदलीय बैठक की अध्यक्षता में 33 दलों के 40 से अधिक नेता शामिल हुए थे
इस बैठक में पीएम मोदी के द्वारा कहा गया की संसद में स्वास्थ्य और सार्थक बहस होनी चाहिए. इसी के बाद कहा गया कि सरकार संसदीय नियमों और प्रक्रियाओं के अनुसार किसी भी विषय पर चर्चा करने के लिए पूर्ण रूप से तैयार है.
राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे की पहल पर आज विपक्षी दलों के नेताओं की एक अलग बैठक भी हुई, जिसमें इस बात पर सहमति बनी कि संसद में सरकार पर पारित विधेयकों को संसद में स्थायी किया जाए. . कमेटियां भेजने का दबाव होगा. हाल के दिनों में ऐसे कई मौके आए हैं जब सरकार ने नंबरों के आधार पर बिल पास करवाए और फिर उन्हें विरोध का सामना करना पड़ा.
अनुमान है कि संसद में सरकार को कृषि कानून, कोरोना प्रबंधन, पेट्रोल-डीजल, महंगाई समेत कई अन्य विषयों पर विपक्ष के हमले का सामना करना पड़ सकता है. विपक्ष इन सभी मुद्दों पर तैयार है और देखना होगा कि सरकार इन हमलों पर क्या प्रतिक्रिया देती है. संसद का यह सत्र 13 अगस्त तक चलेगा.




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