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प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने Paytm की पैरेंट कंपनी One97 Communication Ltd और उसके मैनेजिंग डायरेक्टर समेत अन्य कंपनियों के खिलाफ फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमेंट एक्ट (FEMA), 1999 के उल्लंघन के मामले में शोकॉज नोटिस (SCN) जारी किया है। इस मामले में कुल 611 करोड़ रुपये की अनियमितताओं का आरोप लगाया गया है। अगर ये आरोप सही साबित होते हैं, तो कंपनी और इसके अधिकारियों को भारी आर्थिक दंड और कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है।
क्या है पूरा मामला?
ED की जांच में यह सामने आया कि One97 Communication Ltd (OCL) ने सिंगापुर में विदेशी निवेश किया, लेकिन भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) को इसकी अनिवार्य रिपोर्टिंग नहीं की गई। इसके अलावा, कंपनी ने विदेशी निवेशकों से फॉरेन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट (FDI) भी प्राप्त किया, लेकिन इसमें RBI द्वारा तय किए गए प्राइसिंग नियमों का सही तरीके से पालन नहीं किया गया।
इन नियमों के उल्लंघन से यह संकेत मिलता है कि कंपनी के फाइनेंशियल ट्रांजैक्शन्स में गड़बड़ी हो सकती है। विदेशी निवेश से जुड़ी प्रक्रियाओं में अनियमितता को गंभीरता से लिया जाता है, और यह मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़ी जांच का भी हिस्सा हो सकता है।
किन अन्य कंपनियों पर लगे आरोप?
प्रवर्तन निदेशालय की जांच में Paytm की अन्य सहयोगी कंपनियों की भी संदिग्ध फाइनेंशियल गतिविधियां सामने आई हैं।
- Little Internet Pvt Ltd – यह OCL की एक सब्सिडियरी कंपनी है, जिसे विदेशी निवेश मिला, लेकिन इस निवेश में नियामक नियमों का पूरी तरह पालन नहीं किया गया।
- Nearbuy India Pvt Ltd – इस कंपनी को भी विदेशी निवेश मिला, लेकिन तय समय सीमा के अंदर इसकी रिपोर्टिंग नहीं की गई।
- Paytm Payments Services Ltd – इस कंपनी की कुछ ट्रांजैक्शन्स संदेहास्पद पाई गई हैं, और ED अब इसकी भी जांच कर रहा है।
- Paytm First Games – डिजिटल गेमिंग से जुड़ी इस कंपनी पर भी वित्तीय अनियमितताओं का आरोप है, और इस पर भी FEMA नियमों के उल्लंघन का मामला बन सकता है।
क्या होगा आगे?
ED ने FEMA, 1999 के तहत एडजुडिकेशन (न्यायिक प्रक्रिया) शुरू करने की तैयारी कर ली है। अगर जांच में उल्लंघन साबित होता है, तो इन कंपनियों और उनके अधिकारियों पर भारी जुर्माना लगाया जा सकता है।
इसके अलावा, Paytm के शेयर बाजार में प्रदर्शन पर भी इस खबर का असर पड़ सकता है। पहले से ही Paytm की फाइनेंशियल स्थिति को लेकर कई तरह की अटकलें लगाई जा रही थीं, और ED की इस कार्रवाई के बाद निवेशकों का भरोसा और कमजोर हो सकता है।
अब सबकी नजर इस बात पर होगी कि क्या Paytm और इससे जुड़ी कंपनियां इन आरोपों से बच पाती हैं, या फिर उन्हें कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।
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