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कर्नाटक के बेलगावी जिले से जुड़ी एक झूठी सोशल मीडिया पोस्ट ने पूरे देश में हलचल मचा दी थी। भारतीय सेना की बहादुर अधिकारी कर्नल सोफिया कुरैशी को लेकर एक फर्जी और भ्रामक पोस्ट सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर शेयर की गई, जिसमें दावा किया गया कि उनके ससुराल पर हमला हुआ है। लेकिन अब इस मामले में सच्चाई सामने आ गई है और कर्नाटक पुलिस ने आरोपी अनीसुद्दीन के खिलाफ FIR दर्ज कर ली है।
कनाडा से फैलाई गई अफवाह, IPC की कई धाराओं में दर्ज हुआ मामला
प्रारंभिक जांच में यह सामने आया कि यह फर्जी पोस्ट भारत के बाहर से, कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया से की गई थी। आरोपी का नाम अनीसुद्दीन है और उस पर भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 353 (2) (सार्वजनिक शरारत के लिए झूठा बयान देना) और धारा 192(ए) (दंगा भड़काने के उद्देश्य से जानबूझकर उकसाना) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
यह एफआईआर CEN थाने में एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी की शिकायत पर दर्ज की गई है। साथ ही इस पोस्ट को रीट्वीट करने वाले दो अन्य एक्स अकाउंट्स, जिनके यूजरनेम 'खुबानी' और 'द्रुमी' हैं, को भी प्राथमिकी में नामजद किया गया है। पुलिस फिलहाल इनकी पहचान करने में जुटी हुई है।
SP ने बताई सच्चाई, अफवाह को बताया बेबुनियाद
बेलगावी के पुलिस अधीक्षक भीमाशंकर गुलेड़ ने साफ किया कि ऐसी कोई घटना बेलगावी जिले में घटी ही नहीं है। उन्होंने कहा कि यह पूरी तरह एक झूठी, गढ़ी हुई और भारत की छवि को धूमिल करने की कोशिश थी।
गृह मंत्री का बयान – "यह देश का अपमान है"
कर्नाटक के गृह मंत्री जी. परमेश्वर ने कहा कि इस तरह की पोस्ट न केवल राज्य बल्कि देश के सम्मान को ठेस पहुंचाती हैं। उन्होंने कहा,
"यह एक बहुत ही गंभीर मामला है। कर्नल सोफिया कुरैशी हमारे देश का गौरव हैं। उनके परिवार को निशाना बनाने की अफवाहें देश की सुरक्षा और गरिमा पर चोट हैं। हमने FIR दर्ज कर केंद्र सरकार को सूचित कर दिया है।"
सुरक्षा के लिए तैनात की गई पुलिस
हालांकि ऐसी कोई घटना नहीं हुई, फिर भी गोकक तालुका स्थित कर्नल सोफिया कुरैशी के ससुराल के घर पर दो पुलिसकर्मियों को सुरक्षा के तहत तैनात किया गया है। पुलिस ने कहा है कि अफवाहों से डराने और सांप्रदायिक तनाव फैलाने की कोशिश करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
कौन हैं कर्नल सोफिया कुरैशी?
कर्नल सोफिया कुरैशी भारतीय सेना की एक जांबाज अधिकारी हैं। हाल ही में उन्होंने 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत पाकिस्तान के खिलाफ भारत की सैन्य कार्रवाई में अहम भूमिका निभाई थी। उन्होंने विंग कमांडर व्योमिका सिंह के साथ मिलकर विदेश सचिव विक्रम मिसरी के साथ एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में भारत की कार्रवाई की जानकारी दी थी।
उनकी निडरता और राष्ट्रभक्ति की देशभर में सराहना हुई थी, और इसी कारण कुछ विरोधी तत्वों ने उन्हें निशाना बनाकर इस तरह की अफवाह फैलाने की कोशिश की।




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