बुधवार के दिन गणेश जी को इस आरती और मंत्रों से करें प्रसन्न, सभी विघ्न होंगे दूर

आज बुधवार का दिन है. इस दिन हिंदू कैंलेडर के अनुसार कई शुभ संयोग भी बन रहे हैं. पंचांग के अनुसार इस दिन भाद्रपद मास की शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि है.

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बुधवार के दिन कई राशि परिवर्तन होते है. चंद्रमा धनु राशि में गोचर कर रहा है. सौभाग्य योग का निर्माण हो रहा है और बुध ग्रह कन्या राशि में विराजमान है. ज्योतिष शास्त्र में बुध को कन्या राशि का स्वामी माना गया है. 

गणेश की पूजा का महत्व
आपको बता दें कि, बुध ग्रह का संबंध बुद्धि से है. बुध ग्रह गणेश जी की पूजा से शुभ फल प्रदान करता है. इसलिए बुधवार के दिन गणेश जी की पूजा का विशेष महत्व बताया गया है. बुधवार को  आरती से गणेश जी बहुत जल्द प्रसन्न होते है और अपने भक्जनों को मनवांछित फल देते है. इस दिन आपको गणेश जी का मंत्रोचारण करना चाहिए.
ॐ गं गणपतये नम:
वक्रतुण्ड महाकाय कोटिसूर्य समप्रभ। निर्विघ्नं कुरू मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा।।
ॐ एकदन्ताय विद्धमहे, वक्रतुण्डाय धीमहि, तन्नो दन्ति प्रचोदयात्॥

गणेश जी की आरती
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा.
माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा.
एकदन्त दयावन्त, चार भुजाधारी.
माथे पर तिलक सोहे, मूसे की सवारी.
पान चढ़े फूल चढ़े, और चढ़े मेवा.
लड्डुअन का भोग लगे, सन्त करें सेवा.
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा.
माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा.
अँधे को आँख देत, कोढ़िन को काया.
बाँझन को पुत्र देत,निर्धन को माया.
सूर श्याम शरण आए, सफल कीजे सेवा.
माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा.
दीनन की लाज राखो, शम्भु सुतवारी.
कामना को पूर्ण करो, जग बलिहारी.
जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा.
माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा.

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