ज्ञानवापी में व्यास जी के तहखाने में पूजा-अर्चना करने से रोक लगाने के लिए सुप्रीम कोर्ट ने इनकार कर दिया है। कोर्ट ने दोनों पक्षों को कहा है कि, यथास्थिति बनाए रखें ताकि दोनों पक्ष अपनी पूजा-अर्चना और नमाज को अंजाम दे सके। इस मामले की अगली सुनवाई जुलाई के तीसरे सप्ताह में की जाएगी। हिंदू पक्ष के वकील का कहना है कि, आज सुप्रीम कोर्ट में ज्ञानवापी मामले पर सुनवाई हुई व्यास परिवार की ओर से वाराणसी जिला न्यायालय में जो आवेदन दिया गया था, उसमें 31 जनवरी 2024 से व्यास के तहखाने में पूजा करने की अनुमति दी गई थी।
मुस्लिम वकील ने लगाई रोक
बता दें कि, कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद नोटिस जारी किया है और 30 अप्रैल तक जवाब दाखिल करना है। इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट की तरफ से पूजा को लेकर रोक नहीं लगाई गई है। वहीं, दूसरी तरफ मस्जिद कमेटी के वकील की तरफ से तहखाने में पूजा करने की इजाजत के फैसले पर रोक लगाने की मांग की है। वकील ने कहा है कि, "31 जनवरी को कोर्ट के आदेश के बाद रात में बैरिकेड काटी गई और सुबह 4 बजे से पूजा शुरू की गईतहखाने आदेश में सिविल प्रोसीजर को फॉलो नहीं किया गया।"
पूजा पर नहीं लगी रोक
ज्ञानवापी के इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद हाई कोर्ट के फैसले पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है। इसके बाद व्यास जी के तहखाने में पूजा जारी रहेगी। वाराणसी की जिला अदालत में ज्ञानवापी के व्यास जी के तहखाने में पूजा-अर्चना करने की अनुमति दी थी। वही, अब सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट के फैसले पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है।
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